शिमला-01 सितंबर.राज्य में मानसून की बारिश कहर बनकर बरस रही है ऐसे में प्रदेश सरकार ने हिमाचल प्रदेश को आपदा ग्रस्त राज्य घोषित कर दिया है सोमवार को सीएम सुखविंदर सिंह सुक्खू ने सदन में जानकारी दी है कि आज से हिमाचल आपदा प्रदेश घोषित कर दिया गया है। प्रदेश में स्थिति सामान्य होने पर आपदा प्रभावित प्रदेश की नोटिफिकेशन को वापस लिया जाएगा। इसके चलते आज से प्रदेश में आपदा से जुड़े नियम लागू होंगे। इससे पहले बीती 28 अगस्त को हिमाचल प्रदेश विधानसभा में सरकार ने मानसून में प्राकृतिक आपदा को राष्ट्रीय आपदा घोषित करने का प्रस्ताव पेश किया था। संसदीय कार्य मंत्री हर्षवर्धन चौहान ने नियम 102 के तहत इसे पेश किया जिसका विपक्ष ने भी समर्थन किया था। उसी के चलते आज हिमाचल को आपदा प्रदेश घोषित कर दिया गया है।
सीएम सुक्खू ने सदन में कहा कि मॉनसून प्रारंभ होने के साथ ही प्रदेश के कई जिलों में बादल फटने अचानक बाढ़ , भूस्खलन की घटनाएँ हुई जिस पर राहत एवं बचाव कार्यों, सड़क, पेयजल योजनाओं, बिजली आपूर्ति की पुनर्बहाली के कार्य में युद्ध स्तर पर गति प्रदान की जा रही थी ।
अतिवृष्टि, बादल फटने, भूस्खलन की कई घटनाएं हुई इस दौरान सबसे अधिक प्रभावित जिले, चंबा, कुल्लू, लाहुल स्पीति, मंडी, शिमला, कांगड़ा, हमीरपुर रहे। इस वर्ष मॉनसून में अब तक 3 हजार 56 करोड़ का प्रारंभिक नुकसान का अनुमान लगाया गया है। सबसे अधिकनुकसान सड़कों, पुलों, पानी व बिजली की संरचनाओं को हुआ है।
सीएम सुक्खू ने कहा मणिमहेश यात्रा पर गए 16 श्रद्धालुओं की मौत हुई है। क्षेत्र में राहत एवं बचाव कार्य जारी है. जो श्रद्धालु नहीं चल सकते हैं, उन्हें हेलीकॉप्टर से चंबा पहुंचाया जाएगा। जहां से उन्हें निशुल्क बसों में वापस घर भेजा जाएगा। सरकार ने 3297 श्रद्धालुओं को मणिमहेश से भरमौर सुरक्षित पहुंचाया है।